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सतपुली : कोरोना संकट के बीच लॉकडाउन के दौरान विकासखंड जयहरीखाल की ग्रामसभा बन्दूण में देश के विभिन्न राज्यों से लौटे 30 प्रवासियों को ग्राम प्रधान द्वारा क्वारेंटाइन किया गया है। इनमे से 21 लोगों को प्राथमिक विद्यालय बन्दूण, 7 लोगों को प्राथमिक विद्यालय अगरोड़ा व दो लोगों को गांव से दूर खाली पड़े एक घर में क्वारेंटाइन किया गया है। जहाँ उनके परिजनों द्वारा विस्तर व खाने पीने की व्यवस्था की गयी है।

ग्राम सभा बन्दूण में आये सभी लोग गुड़गांव, दिल्ली,चंडीगढ़, गाजियाबाद व अन्य जगहों पर प्राइवेट नौकरी करते थे। कोरोना महामारी के चलते कम्पनी में काम न होने के कारण इन्हें अपने गाँव लौटना पड़ा। इनमें से कुछ युवाओ को अप्रैल माह से सैलरी भी नही मिली।

क्वारेंटाइन सेंटर प्राथमिक विद्यालय कई लोगों के घरों से एक किलोमीटर की दूरी पर है। जिस कारण लोग क्वारेंटाइन सेंटर पर ही अपना भोजन बना रहे है, साथ ही प्राथमिक विद्यालय की बदहाली बयां करती लाइट, टूटे दरवाजे, शौचालय को ग्राम प्रधान, उप राजस्व निरीक्षक अतुल बलोदी व क्वारेंटाइन में रह रहे लोगों द्वारा स्वयं के योगदान से दुरस्त कर रहने की व्यस्था बनायीं गयी। युवाओ का कहना है कि अगर सरकार हमारी मदद करे तो हम अपने गांव में ही रोजगार करने के लिए तैयार है।

चंडीगढ़ से लौटे सुरजीत सिंह का कहना है कि मैं बच्चे की पढ़ाई के लिए परिवार सहित चंडीगढ़ चला गया था लेकिन यही स्थिति रही तो गांव में ही अपना रोजगार तलाशना पड़ेगा। ग्राम प्रधान अंजली देवी का कहना है कि अभी तक ग्राम प्रधान को कोई वित्तीय सहायता नही दी गयी है। जिससे कि अन्य व्यवस्था की जा सके। क्योंकि लोग ग्राम प्रधान से ही सभी सुविधाओं की मांग कर रहे है।

मनीष खुगशाल स्वतन्त्र की रिपोर्ट