पौड़ी: पौड़ी में उत्तराखंड विजिलेंस की टीम ने हुए वन दारोगा को 15 हजार की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। बताया जा रहा है कि आरोपी वन दारोगा ने सरकारी योजना में अनुदान दिलाने के लिए ग्रामीण से रिश्वत की मांग की थी। जिसकी शिकायत पीड़ित ने विजिलेंस को थी, जिसके बाद ही ये कार्रवाई की गई है। सतर्कता निदेशक ने ट्रेप टीम को पुरस्कार दिलाने की घोषणा की है। वहीँ डीएफओ सिविल सोयम ने विभागीय रिपोर्ट आने के बाद आरोपी वन दरोगा के खिलाफ कार्यवाही किये जाने की बात कही है।
निदेशक सतर्कता डा।वी गुरूगेशन ने बताया कि बीती 2 मार्च को पैठाणी में वन पंचायत पाबौ की सभा हुई। जिसमें वन पंचायत के तहत आने वाले गांवों के आर्थिक रूप से पिछडे वर्ग के लोगों को मुर्गी, बकरी पालन आदि कार्यो को विभागीय अनुदान दिए जाने के संबंध में जानकारी दी गई। जिस पर एक ग्रामीण ने बकरी पालन के लिए आवेदन किया। विभाग ने ग्रामीण के खाते में 50 हजार का अनुदान डाल दिया। बताया गया कि वन दरोगा हंस राज हंस द्वारा फार्म आदि भरवाने व विभागीय अनुदान पास करवाने की एवज में रिश्वत की मांग की जा रही थी। जिस पर शिकायतकर्ता ने सतर्कता अधिष्ठान के टोल फ्री नंबर 1064 पर शिकायत दर्ज कराई थी।
निदेशक सतर्कता डॉ वी मुरूगेशन ने बताया कि प्राथमिक जांच में वन दारोगा के खिलाफ आरोपी सही पाए गए। उसके बाद तत्काल ट्रैप टीम का गठन किया गया। टीम ने नियमनुसार कार्रवाई करते हुए मंगलवार 21 मई को चाकीसैंण सेक्शन पावौ रेंज पौड़ी के वन दरोगा हंस राज पंत को पैठाणी बाजार में शिकायतकर्ता से 15 हजार की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया।
डीएफओ सिविल एवं सोयम प्रदीप कुमार धौलाखंडी ने कहा कि इस प्रकरण में रेंजर की रिपोर्ट आने के बाद संबंधित कार्मिक पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।