sarkar Janata Ke Dwar program is being neglected

पौड़ी :राज्य सरकार की विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी व उसके निराकरण हेतु सरकार जनता के द्वार कार्यक्रम के तहत चौपाल लगाकर ग्रामीणों को जानकारी दी जाती है, जिलाधिकारी गढ़वाल के निर्देशों पर कल्जीखाल ब्लॉक के राजस्व ग्राम देवल में आज चौपाल का आयोजन किया गया। जिसमें नोडल अधिकारी परियोजना निदेशक डीआरडीए विवेक कुमार उपाध्याय को नामित किया गया था। चौपाल में 20 विभागों में से महज 6 विभागों के कर्मचारी ही उपस्थित हुए, जो कि विकास खंड स्तरीय से थे। जनपद स्तरीय विभाग के अन्य 14 विभाग के कर्मचारी नदारद रहे।

परियोजना निदेशक विवेक कुमार उपाध्याय ने आश्चर्य व्यक्त किया है कि सभी विभागों को सूचित किए जाने के बावजूद 14 विभाग के कर्मचारी अनुपस्थित रहे। जिससे जिलाधिकारी के निर्देशों की अवेहलना की गई है। चौपाल में खंड विकास अधिकारी सहित 6 विभागों के कर्मचारी उपस्थित रहे। जिसमें ग्राम्य विकास विभाग से ग्राम विकास अधिकारी दुर्गा प्रसाद भट्ट, पंचायत राज से ग्राम पंचायत विकास अधिकारी फुरकान अली, निशा रावत डाटा एंट्री ऑपरेटर, विनिता सिंह NRLM कार्डिनेटर प्रियंका, कृषि से सुधीर नौटियाल, आंगनबाड़ी कार्यकत्री, प्रधान/प्रशासक किरन देवी शामिल रहे।

ग्रामीणों ने क्षेत्र में गुलदार का आंतक व भयमुक्त होने पर वन विभाग से महत्वपूर्ण चिंता जताई, व मनरेगा से गौशाला निर्माण और रेन हार्वेस्टिंग टैंक, कृषि विभाग से घेरबाड़ की समस्या से निजात दिलाने की मांग की। चौपाल में ग्रामीणों ने विभिन्न विभागों की समस्याएं रखीं। जिसमें जल संस्थान से पेयजल आपूर्ति ना होने पर विभाग द्वारा बिलों का नोटिस दिया जा रहा है, जिससे ग्रामीणो में आक्रोश देखने को मिला।

सिंचाई विभाग से बनाई गई गूल भी क्षतिग्रस्त हो चुकी है, जिससे सिंचाई नहीं हो पा रही हैं। विद्युत विभाग पर ग्रामीणों ने विद्युत लाइन ठीक ना होने से ग्रामीणों के सर पर समस्या मंडरा रही है, व किसी समय भी अप्रिय स्थिति उत्पन्न हो सकती है। किंतु नदारद कर्मचारियों से समस्या का समाधान होना ऊंट के मुंह में जीरा होने जैसा है। हैरत की बात यह है कि, यदि विभिन्न विभाग इसी प्रकार से जिलाधिकारी के निर्देशों की अवेहलना करते रहे तो वो दिन दूर नहीं, जब प्रत्येक विभागों की मनमानी व नौकरशाही सर पर हैवी होती चले जाएगी, और सरकार की कार्य प्रणाली पर प्रश्न चिन्ह लगते रहेंगे। जब विभागों के कर्मचारी चौपाल में उपस्थित नहीं हो पा रहे हो तो चौपाल का कोई औचित्य नहीं रह जाता है जिस पर पुनर्विचार करने की आवश्यकता है। परियोजना निदेशक व नोडल अधिकारी विवेक कुमार उपाध्याय ने खंड विकास अधिकारी गंगा प्रसाद लखेड़ा को निर्देशित किया है कि ग्रामीणों की समस्या हल करने व अनुपस्थित विभागों के कर्मचारियों को सूचित कर उत्तरदायित्व निर्धारित करने को कहा। जिसकी रिपोर्ट जिलाधिकारी को प्रस्तुत की जाएगी।