नई दिल्ली: दिल्ली के बुराड़ी के कौशिक एन्क्लेव स्थित आर्य मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल में बीते 29 अक्टूबर को उत्तराखंड मूल की एक 9 माह की गर्भवती महिला ममता चौहान की डॉक्टरों की लापरवाही से हुई मौत का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक मूलरूप से उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाली की रहने वाली 9 माह की गर्भवती महिला ममता चैहान व उनके पति 24 अक्टूबर को जांच के लिए उक्त अस्पताल में गए वहां पर जांच के बाद डॉक्टरों ने कहा कि सब ठीक है और दीवाली के बाद नार्मल डिलीवरी हो जाएगी।
29 अक्टूबर को ममता को दर्द होने पर उसके घर वाले जब ममता को फिर से उसी अस्पताल में ले गए तो डॉक्टरों ने कहा कि सब ठीक है कुछ ही देर में डिलीवरी हो जाएगी। ममता के पति का आरोप है कि अस्पताल वालों ने परिवार को गुमराह किया और ममता की सही हालत के बारे में नहीं बताया। करीब 6 घंटे के बाद जब ममता की हालत बिगड़ने लगी तो उन्होंने उसे दूसरे अस्पताल ले जाने के लिए कह दिया परन्तु मरीज को दूसरे अस्पताल ले जाने के लिए कोई एम्बुलेंस नहीं दी। घबराहट में ममता के पति ने कैब बुक कर उसे सरकारी अस्पताल ले जाने लगे। वे अभी अस्पताल के कुछ ही दूर रिंग रोड पर पहुंचे थे कि ममता की हालत बिगड़ने लगी और वह अचेत अवस्था में जाने लगी। जैसे ही वे लोग अस्पताल पहुंचे तो डॉक्टरों ने ममता को मृत घोषित कर दिया उसके साथ ही उसके गर्भ में पल रहा 9 माह का बच्चा ही मर गया। इसके बाद ममता के परिजन डेड बॉडी को लेकर जब कौशिक एनक्लेव पहुंचे तो आर्य मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल के डॉक्टर व सभी कर्मचारी भाग गए। परिजनों का आरोप है कि अस्पताल वालों के लालच व लापरवाही ने एक माँ और उसके गर्भ में पल रहे एक मासूम के जीवन को समाप्त कर दिया। इस घटना के बाद उत्तराखंड समाज के लोग आक्रोशित हैं और उन्होंने इसकी शिकायत पुलिस में करते हुए आरोपी डॉक्टरों एवं अस्पताल प्रशासन के खिलाफ सख्त कार्यवाई करने की मांग की। हालँकि अभी तक इस मामले में किसी की गिरफ़्तारी नहीं हो सकी है।
उत्तराखंड एकता मंच के तत्वाधान में उत्तराखंड समाज के सैकड़ों लोगों ने आज से आर्य मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल के बाहर धरना प्रदर्शन व भूख हड़ताल शुरू कर दी है। लोगों की मांग है कि ममता व उसके बच्चे की मौत के दोषियों को शीघ्र पकड़ा जाए व खूनी अस्पताल पर जल्द ताला लगाया जाए। इस घटना को लेकर उत्तराखंड समाज बहुत दुखी और आक्रोशित है और शीघ्र अतिशीघ्र न्याय की मांग कर रहा है। ममता व उनके बच्चे को न्याय दिलाने के लिए कल रात से ही बुराड़ी के रहने वाले सुरेंद्र गुसाईं जोगी व निशांत भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं। ये खबर लिखे जाने तक पुलिस ने कोई कार्यवाही नहीं की है।
देवभूमि संवाद के लिए द्वारिका चमोली की रिपोर्ट