French writer Anne Arneux received the Nobel Prize in Literature

पहले चिकित्सा, फिर भौतिक, उसके बाद केमिस्ट्री के लिए नोबेल पुरस्कार के नामों का एलान किया जा चुका है। इसी कड़ी में  ‌आज साहित्य (लिटरेचर) के लिए फ्रांस की लेखिका एनी एर्नेक्स को नोबेल पुरस्कार देने का एलान किया गया। ‌एनी बहुत आसान भाषा में गंभीर मुद्दों पर बात करती हैं। उनके लेखन में साहस के साथ संवेदना भी नजर आती है।

82 साल की एनी ने करीब 40 किताबें लिखी हैं। इनमें से 90% फ्रेंच में है। कुछ का अंग्रेजी में अनुवाद किया गया। इनमें पैशन सिम्पल, ला पैलेस, द इयर्स, ए फ्रोजन वुमन, हैपनिंग्स और डू वॉट ऑर द एल्स शामिल हैं। एनी का जन्म 1940 में हुआ था और वे नॉर्मंडी के छोटे से शहर यवेटोट में पली-बढ़ी थीं, जहां उनके माता-पिता की एक संयुक्त किराने की दुकान और कैफे था। उनके  पारिवारिक हालात खराब थे, लेकिन वो महत्वाकांक्षी थी। उन माता-पिता के साथ उन्होंने खुद को सर्वहारा अस्तित्व से बुर्जुआ तक का जीवन जीया। इस जीवन की यादें उन्हें कभी नहीं भूलीं।

अपने लेखन में एर्नेक्स ने समाज की इन्हीं विसंगितयों को उतार डाला। लेखक बनने का उनका रास्ता लंबा और कठिन था। बता दें कि 3 दिन पहले नोबेल वीक 3 अक्टूबर को शुरू हुआ और यह 10 अक्टूबर तक चलेगा। 7 दिन में कुल 6 प्राइज अनाउंस होते हैं। 10 अक्टूबर को इकोनॉमिक्स के लिए आखरी नोबेल पुरस्कार दिया जाएगा।