YEIDA Plot Scheme 2024: यमुना प्राधिकरण द्वारा हाल ही में लांच की गयी आवासीय भूखंड योजना (YEIDA Residential Plot Scheme 2024) सवालों के घेरे में आ गई है। पूर्वी दिल्ली नगर निगम के पूर्व महापौर श्याम सुंदर अग्रवाल ने यमुना विकास प्राधिकरण की 361 आवासीय भूखंड योजना में 200 करोड़ के घोटाले का आरोप लगाया है। श्याम सुंदर अग्रवाल ने प्राधिकरण के सीईओ और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ सीबीआई में शिकायत दर्ज कराई है। उनका आरोप है कि प्राधिकरण ने आवेदन की समय सीमा बढ़ाकर ICICI Bank को फायदा पहुंचाया है। पूर्व महापौर ने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री से भी इसकी शिकायत की है।
23 अगस्त तक बढ़ाई आवेदन की तारीख
गौरतलब है कि यमुना प्राधिकरण ने 5 जुलाई 2024 को आवसिय प्लॉटों की योजना निकाली थी। जिसमें 5 अगस्त 2024 तक आवेदन मांगे गए थे, लेकिन इसबीच प्राधिकरण ने आवेदन की तिथि को 23 अगस्त तक बढ़ा दिया था। अब 10 अक्टूबर को इस योजना का ड्रॉ निकाला जाएगा। पूर्वी दिल्ली के पूर्व महापौर का अरोप है कि यमुना प्राधिकरण ने ICICI Bank को लाभ पहुंचाने के लिए योजना की तिथि आगे बढ़ाई है। उनका कहना है कि प्राधिकरण ने योजना के लिए केवल आईसीआईसीआई बैंक को ही अधिकृत किया है। 5 अगस्त तक योजना में 1.08 लाख आवेदन आए थे, लेकिन 23 अगस्त तक 2 लाख 18 हजार से अधिक आवेदन आ गए। प्राधिकरण ने योजना में प्लॉटों की संख्या बढ़ाने का भी दावा किया था, लेकिन प्लॉट नहीं बढ़ाए। बताया कि अधिकांश आवेदकों ने लोन लेकर प्लॉट की रजिस्ट्रेशन फीस जमा की है। बैंक ने 120 वर्गमीटर प्लॉट की पंजीकरण राशि तीन लाख लोन के लिए आवेदकों से 11000 हजार वसूल किए। योजना में आवेदन व ड्रॉ की समय सीमा को बढ़ाने से सीधा फायदा बैंक को हुआ है। बैंक को सीधे 200 करोड़ रुपये का लाभ पहुंचाया गया। उनका कहना है कि जब आवेदकों से 12 प्रतिशत ब्याज लिया जा रहा है तो असफल आवेदकों की पंजीकरण राशि 12 प्रतिशत ब्याज संग वापस होनी चाहिए. उन्होंने मामले की जांच और प्राधिकरण पर कार्रवाई के लिए सीबीआई, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रधानमंत्री को शिकायत पत्र दिया है।”
हालांकि, सीईओ अरुणवीर सिंह का कहना है कि यह आरोप बेबुनियाद हैं। यूपी रेरा का अप्रूवल न मिलने के चलते प्लॉट नहीं बढ़ सके थे। प्राधिकरण ने इसकी जानकारी वेबसाइट पर भी जारी की है।