noida twin towers demolition

Noida Twin Towers Demolition: अगर हम पिछले दो दशक की बात करें तो देश में गुरुग्राम और नोएडा ने सबसे अधिक विकास की तेज चाल देखी है। दोनों शहरों में गगनचुंबी (रिहाइशी) इमारतों के साथ सड़कों का इंफ्रास्ट्रक्चर का जाल बिछता चला गया। इसके साथ मल्टीनेशनल कंपनियों के ऑफिस भी खुलते चले गए। हाइटेक सिटी के मामले में गुरुग्राम और नोएडा ने बेंगलुरु का स्थान ले लिया।

पिछले कुछ समय से नोएडा में बने ‘सुपरटेक ट्विन टावर’ चर्चा में बना हुआ है। ‌अगर आप उधर से निकले होंगे तो इस टावर पर जरूर नजरें ठहर गई होंगी। 2 दिन बाद यह टावर जमींदोज हो जाएगा। यानी इसका नामोनिशान मिट जाएगा। इसके लिए गुरुवार को रिहर्सल किया गया। 28 अगस्त को करीब 800 करोड़ रुपए की लागत से बने सुपरटेक ट्विन टावर को सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद गिराया जाना है।

बता दें कि नोएडा सेक्टर-93ए स्थित सुपरटेक एमराल्ड कोर्ट में बने ट्विन टावर (एपेक्स और सियान टावर) बनाने में नियमों की अनदेखी की गई है। लंबी सुनवाई के बाद आखिरकार देश की सर्वोच्च अदालत ने इसे गिराने के आदेश जारी किए हैं। सुपरटेक के दोनो टॉवर की ऊंचाई 100 मीटर है। दोनों टॉवर गिरेंगे तो लगभग 3 हजार ट्रक मलबा निकलेगा। इस मलबे में लगभग 4 हजार टन तो स्टील ही होगा। इसकी कीमत 13 करोड़ तक होगी। टावरों को 3700 किलो विस्फोटक लगाकर गिराया जा रहा है।

सेक्टर-93ए स्थित सुपरटेक के ट्विन टावर (सियान और एपेक्स) को ढहाने की तैयारी अंतिम चरण में है। मिली जानकारी के मुताबिक, नोएडा सेक्टर-93ए स्थित सुपरटेक एमराल्ड कोर्ट में बने दोनों टावर एपेक्स और सियान टावर को ध्वस्त करने के लिए विस्फोटक लगाने का कार्य पूरा हो गया है। वहीं नोएडा पुलिस ने 26 अगस्त से 31 अगस्त तक सुपरटेक ट्विन टावर डिमोलिशन के चलते ड्रोन पर बैन लगा दिया है। पुलिस ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए यह फैसला लिया। इस टावर के ध्वस्त करने के दौरान वीडियोग्राफी नहीं करने दी जाएगी।

गौरतलब है कि 32 मंजिला एपेक्स और 29 मंजिल सियेन को 28 अगस्त को दोपहर 2.30 बजे 3700 किलो विस्फोटक के जरिए ध्वस्त कर दिया जाएगा। इस दौरान नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे पर 2:15 बजे से 2:45 बजे तक यातायात बंद रहेगा।

एक साल पहले सुप्रीम कोर्ट ने सुपरटेक ट्विन टावर को अवैध घोषित कर दिया था

करीब एक साल पहले 31 अगस्त 2021 को सुप्रीम कोर्ट ने नोएडा सेक्टर 93ए में बने सुपरटेक ट्विन टावर को अवैध घोषित कर दिया था। सुप्रीम कोर्ट ने ये माना था कि ट्विन टावर को बनाने में नियमों की अनदेखी हुई है इतना ही नहीं इस मामले में नोएडा अथॉरिटी के भ्रष्टाचार में लिप्त होने पर सुप्रीम कोर्ट ने सख्त टिप्पणी की थी और आदेश दिए थे कि 3 महीने में यानी नवंबर 2021 तक टावर को गिरा दिया जाए।

ट्विन टावर के बगल में बनी सोसाइटी के दूसरे टावर के लोगों ने ट्विन टावर के खिलाफ कानूनी लड़ाई लड़ी थी। क्योंकि उनका मानना था ये अवैध तरीके से बनाया जा रहा है। इस लड़ाई को लड़ने वालों का कहना है कि, ये लड़ाई आसान नहीं थी। पहले ये नोएडा अथॉरिटी से शुरू हुई इसके बाद हाईकोर्ट पहुंची और फिर मामला सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचा लेकिन सोसाइटी के आरडब्ल्यूए ने हार नहीं मानी। वो तब तक इस लड़ाई को लड़ते रहे जब तक टावर को अवैध घोषित करके इसे गिराने का आदेश नहीं दिया गया। हालांकि ये अवैध घोषित करने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने ट्विन टावर को गिराने के लिए 3 महीने का समय दिया था। लेकिन अब एक साल बाद 28 अगस्त को अवैध तरीके से बने ट्विन टावर को ढहा दिया जाएगा।