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चमोली आपदा : चमोली जिले के तपोवन में गुरुवार को राहत बचाव कार्य के दौरान अचानक ऋषिगंगा नदी का जलस्तर बढ़ गया। जिसके चलते कुछ देर तक वहां राहत व बचाव कार्य रोक दिया गया था. टनल के ऊपरी हिस्से में रेणी गांव के आसपास नदी में फिर एक बार जलस्तर बढ़ने की सूचना मिली । जिसके बाद अलार्म बजाकर राहत और बचाव कार्य को पूरी तरह से रोक दिया गया। टनल के पास से मशीनों और राहत कर्मियों को हटा लिया गया था। हालाँकि करीब आधे घंटे बाद राहत बचाव कार्य फिर से शुरू हो गया।

ऋषिगंगा नदी के जल स्तर में वृद्धि के बाद करीब आधे घंटे तक रुका राहत बचाव कार्य अब शुरू कर दिया। एनडीआरएफ कर्मियों का कहना है जल स्तर बढ़ रहा है, इसलिए टीमों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित कर दिया गया। ऑपरेशन को सीमित टीमों के साथ फिर से शुरू किया गया है।

बता दें कि ऋषिगंगा में जल प्रलय के बाद तपोवन जल विद्युत परियोजना की निर्माणाधीन सुरंग में फंसे तीन इंजीनियरों समेत 35 कर्मचारियों तक पहुंचने में सुरंग के जरिए भारी मात्रा में आ रहा मलबा बचाव दल के समक्ष बड़ी बाधा बनकर सामने आया है। अभी तक आपदा में 169 लोग लापता हैं। 35 लोगों के शव बरामद कर लिए गए हैं, जिनमें से 09 लोगों की शिनाख्त हो चुकी है। 12 मानव अंग क्षत-विक्षत हालत में मिले हैं। हेलीकॉप्टर से लगातार नीती घाटी के गांवों में राहत सामग्री वितरित की जा रही हैं। नदी में पानी बढ़ने के बाद चमोली पुलिस नदी ने आस-पास के इलाकों में रहने वाले लोगों को सतर्क किया जा रहा है। पुलिस ने लोगों से अनुरोध किया है कि वे सतर्क रहें और घबराएं नहीं।