cultivation of Australian teak and pepper in Uttarakhand

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने सचिवालय में उत्तराखण्ड ग्राम्य विकास एवं पंचायतीराज संस्थान रूद्रपुर की बोर्ड ऑफ गवनर्स की दसवीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि प्रदेश में आस्ट्रेलियन टीक एवं काली मिर्च की खेती को बढ़ावा देने के लिए इस क्षेत्र के विशेषज्ञों से राय ली जाय। किसानों की आर्थिकी को बढ़ाने में काली मिर्च एवं मशरूम की महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है। राज्य में मशरूम उत्पादन की दिशा में अनेक लोगों द्वारा कार्य किया जा रहा है। मशरूम उत्पादन के लिए लोगों को बृहद स्तर पर प्रशिक्षण दिया जाय, इसका बहुआयामी उपयोग किस तरह किया जा सकता है, इसकी भी लोगों को जानकारी दी जाय।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने ग्रामीण विकास एवं ग्रामीण आर्थिकी की मजबूती के लिये सभी सम्बन्धित विभागों से आपसी समन्वय से कार्य करने को कहा। योजनाओं व बेहतर क्रियान्वयन के लिये दिये जाने वाले प्रशिक्षण को आधुनिक तकनिकी से जोड़े जाने पर भी उन्होंने बल दिया है। हमारे संस्थान प्रशिक्षण देने के साथ ही आय सृजन के भी माध्यम बने इस दिशा में भी प्रयास किये जायें। उन्होंने संस्थान से नवाचार की पहल के साथ ही किसानों को लाभ देने वाली योजनाओं के प्रति जागरूक करने को कहा। बैठक में जानकारी दी गई कि उत्तराखण्ड ग्राम्य विकास एवं पंचायतीराज संस्थान की रूद्रपुर द्वारा प्रशिक्षण के अभी तक 61 कार्यक्रम आयोजित किये गये है। जिसमें 3395 लोगों को प्रशिक्षण दिया गया।

इस अवसर पर मुख्य सचिव ओम प्रकाश, अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, श्रीमती मनीषा पंवार, निदेशक उत्तराखण्ड प्रशासनिक अकादमी राजीव रौतेला, सचिव पंचायतीराज एच.सी. सेमवाल, अधिशासी निदेशक उत्तराखण्ड ग्राम्य विकास एवं पंचायतीराज संस्थान हरीश चन्द्र काण्डपाल आदि उपस्थित थे।