देहरादून: उत्तराखंड सरकार ने प्रदेश में वन्यजीवों के हमले में होने वाली जनहानि पर मिलने वाली सहायता राशि बढ़ा दी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बताया कि ऐसे मामलों में अब मृतक के परिजनों को छह लाख की जगह 10 लाख रुपये सहायता राशि दी जाएगी। इस प्रस्ताव पर उत्तराखंड शासन ने सहमति जता दी है। वन विभाग इस प्रस्ताव को आगामी मंत्रिमंडल की बैठक में पेश कर मंजूरी मिलने के बाद लागू करने की कार्रवाई करेगा।

वन्य जीवों की सुरक्षा और संरक्षण के लिए हर साल अक्टूबर महीने के पहले हफ्ते को वन्य जीव सप्ताह के रूप में मनाया जाता है। इसी क्रम में देहरादून जू में वन्य जीव प्राणी सप्ताह कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसका शुक्रवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुभारंभ किया। इस दौरान सीएम धामी ने कहा कि प्रदेश में वन्य जीवों के हमले में होने वाली जनहानि पर मिलने वाली सहायता राशि को 6 लाख से बढ़ाकर 10 लाख रुपए किया जाएगा।

अभी छह लाख देने का है प्रावधान

राज्य में अभी तक वन्यजीवों के हमले में किसी व्यक्ति की मृत्यु होने पर प्रभावित परिवार को छह लाख की सहायता राशि देने का प्रावधान है। इसी वर्ष अगस्त में वन विभाग ने शासन को एक पत्र लिखा था। इसमें अनुग्रह राशि को 10 लाख करने का अनुरोध किया गया था। पत्र में ऐसे मामलों में महाराष्ट्र में 25 लाख देने, कर्नाटक में 20 लाख देने, बिहार और उड़ीसा में 10-10 लाख की अनुग्रह राशि देने का उल्लेख किया गया था।

इस अवसर पर सीएम धामी ने कहा कि राज्य की लगभग 14.77 प्रतिशत भूमि, 6 राष्ट्रीय उद्यानों, 7 वन्यजीव विहारों और 4 संरक्षण आरक्षित क्षेत्रों के रूप में संरक्षित हैं, जबकि पूरे देश में ये अनुपात मात्र 5.27 प्रतिशत ही है। ये अंतर हमारे राज्य की पर्यावरणीय प्रतिबद्धता का स्पष्ट प्रमाण है।. उन्होंने कहा कि उत्तराखंड की हरियाली और इसमें स्वच्छंद विचरण करते वन्य जीव वर्ष भर देश-विदेश से आने वाले लाखों पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। पर्यटकों की सुविधाओं का ध्यान रखने के साथ-साथ राज्य सरकार वनों के प्राकृतिक स्वरूप को अक्षुण्ण बनाए रखने और वन्य जीवों को सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है।

ज्ञात हो कि राज्य में वर्ष-2000 से 2024 तक वन्यजीवों के हमले में 1221 लोगों की मौत हुई थी और 6123 लोग घायल हुए थे। प्रदेश में इस साल भी वन्यजीवों के हमले में कई लोगों की मौत हो चुकी है।