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ग्रेटर नोएडा: नॉलेज पार्क-1 स्थित ईशान आयुर्वेदिक अस्पताल व मेडिकल कॉलेज ने अस्थमा के रोगियों का अनोखे अंदाज में इलाज किया। मेडिकल कॉलेज द्वारा शुक्रवार रात को अस्थमा रोगियों के लिए एक विशेष नि:शुल्क स्वास्थ्य शिविर का आयोजन किया गया। जिसके अन्तरगत अस्थमा रोगियों को पूनम की चांदनी में कई घंटों तक रखी गई दवा मिश्रित खीर का सेवन कराया गया। पूनम की चांदनी में कई घंटों तक रखी गई खीर का सेवन अस्थमा पीड़ितों पर चमत्कारी प्रभाव डालता है, आयुर्वेद में इसका विशेष महत्व है।

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अब तो विज्ञानं भी इसे मानने लगा है एक अध्ययन के अनुसार दुग्ध में लैक्टिक अम्ल और अमृत तत्व होता है। यह तत्व चंदमा की किरणों से अधिक मात्रा में शक्ति का शोषण करता है। चावल में स्टार्च होने के कारण यह प्रक्रिया और आसान हो जाती है। इसी कारण ऋषि-मुनियों ने पूर्णिमा की रात्रि में खीर खुले आसमान में रखने का विधान किया है। यह परंपरा विज्ञान पर आधारित है। शोध के अनुसार खीर को चांदी के पात्र में सेवन करना चाहिए। चांदी में प्रतिरोधकता अधिक होती है। इससे विषाणु दूर रहते हैं।

ईशान मेडिकल कॉलेज के मिडिया प्रवक्ता डी. एस. नेगी ने बताया कि विशेष स्वास्थ्य शिविर रात्रि ठीक नौ बजे आरम्भ हुआ। ईशान संस्थान के चैयरमैन डॉक्टर डी के गर्ग के नेतृत्व व मार्गदर्शन में चार डॉक्टरों की टीम ने अस्थमा, ऐलर्जी, ब्रोंकाइटिस, निमोनिया इत्यादि फेफड़ों व श्वांस के रोगों से पीड़ित रोगियों का सघनता पूर्वक निशुल्क परीक्षण किया। रात्रि बारह बजे से ईशान इंस्टीट्यूट की अस्थमा पीड़ितों को निःशुल्क दी जाने वाली दवा मिश्रित प्रसिद्ध खीर का वितरण आरम्भ हुआ। मध्य-रात्रि में इस खीर का सेवन करने के लिए न केवल ग्रेटर नोएडा अपितु दूर-दूर से सौ से अधिक अस्थमा रोगी आये थे। कुछ रोगी बहुत पुराने कमर दर्द, गर्दन दर्द व गठिया से भी पीड़ित थे। इन्हें भी उचित परामर्श व दवाइयां दी गई।