ग्रेटर नोएडा : नोएडा-ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की CEO रितू माहेश्वरी की पहल पर शुरू हुआ सफाईगिरी अभियान इस शनिवार सेक्टर 37 पहुंचा। इसमें शिरकत करते हुए प्राधिकरण की एसीईओ अपर्णा शर्मा ने सेक्टरों के बीच भी अब स्वच्छता प्रतियोगिता आयोजित करने का ऐलान किया। उन्होंने सेक्टरवासियों से सिंगल यूज प्लास्टिक का प्रयोग न करने की अपील की।

प्रेरणा शर्मा ने कहा कि 10 साल पहले और आज के समय में बहुत बदलाव आ गया है। अब सफाई बहुत ही महत्वपूर्ण हो चुकी है। स्वास्थ्य संबंधी सेवाओं और स्वच्छता को बढ़ावा देने के लिए प्राधिकरण प्रयत्नशील हैं। ग्रीन बेल्ट, गार्डन आदि को संरक्षित व मेनटेन रखना बहुत ही आवश्यक है, जिससे कि पर्यावरण ठीक रहे। एसीईओं ने कहा कि डोर टू डोर कूड़ा उठाने का काम चल रहा है। सभी निवासी इसमें सहयोग करें। अपने घरों के सूखे व गीले कूड़े को अलग करें। गीले कूड़े से कंपोस्ट बनाकर परिसर की ग्रीनरी में इस्तेमाल करें। उन्होंने सभी सेक्टरवासियों से वेस्ट एग्रीगेशन करने की अपील की।

एसीईओं ने कहा कि स्वच्छता की मुहिम को और आगे ले जाने के लिए सेक्टरों के बीच प्रतियोगिता कराई जाएगी, जिसमें अव्वल आने वाले सेक्टरों और सोसाइटियों को पुरस्कृत किया जाएगा। इस अवसर पर सेक्टर 37 की आरडब्ल्यूए ने एसीईओ प्रेरणा शर्मा को ज्ञापन भी सौंपा। आरडब्ल्यूए पदाधिकारियों ने सेक्टर में सामुदायिक केंद्र बनाने, गार्ड रूम , मदर डेयरी बूथ , नर्सिंग होम आदि का निर्माण कराने की मांग की। एसीईओ ने समस्याओं को इन समस्याओं को शीघ्र निस्तारित कराने का आश्वासन दिया।

कार्यक्रम में शामिल प्रभारी जीएम प्रोजेक्ट सलिल यादव ने सफाईगिरी कार्यक्रम के बहुआयामों से सेक्टरवासियों को अवगत कराया। उन्होंने बताया कि सफाईगिरी कार्यक्रम सफाई के साथ-साथ अन्य सभी समस्याओं को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण तक पहुंचाने का एक मंच भी है। उन्होंने कहा कि समस्याएं दो तरह की होती हैं। एक अल्पकालिक समस्याएं हैं, जिनका समाधान तत्काल हो सकता है, जैसे सफाई आदि शामिल हैं। वहीं दीर्घकालिक समस्याएं जैसे कम्युनिटी सेंटर बनाना, सड़क निर्माण आदि‌ हैं।

उन्होंने बताया कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण स्वच्छता सर्वेक्षण में भाग लेने के लिए तैयारी कर रहा है और क्षेत्र की बेहतर सफाई के लिए प्रयासरत है। इसलिए सभी निवासियों के सहयोग की जरूरत है। पर्यावरण को स्वच्छ रखना जरूरी है। सभी से अनुरोध है कि गीले व सूखे कूड़े को अलग-अलग कर गीले कूड़े का कंपोस्ट बनाएं और सेक्टर के अंदर लगे पेड़ पौधों में इसका इस्तेमाल करें। प्राधिकरण के स्वच्छता अभियान से जुड़ी संस्था ई एंड वाई, फीडबैक फाउंडेशन और एआईआईएलएसजी ने क्षेत्रवासियों को होम कंपोस्टिंग बनाने के बारे में जानकारी दी।