उत्तराखंड की धामी सरकार का आज एक साल पूरा होने पर राजधानी देहरादून में भाजपा ने कई कार्यक्रम आयोजित किए। ‌ सबसे बड़ा आयोजन देहरादून के रेंजर्स ग्राउंड में आयोजित किया गया। ‌कार्यक्रम में पहुंचे मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने एक साल के कार्यकाल की उपलब्धियां गिनाईं और कई बड़ी घोषणाएं भी की। ‌ इस मौके पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंच से जोशीला भाषण देते हुए कहा कि हमारी सरकार ने एक साल में कई कड़े फैसले लिए हैं। हमने जनता से किए वादों को धरातल पर उतारा है।

रेंजर्स ग्राउंड में आयोजित मुख्य कार्यक्रम में सूचना एवं लोक सम्पर्क विभाग द्वारा प्रकाशित विकास पुस्तिका ‘एक साल नई मिसाल’ का सीएम ने विमोचन किया। इस अवसर पर ग्राम तरला नागल सहस्त्रधारा मार्ग में 12.45 हेक्टेयर में बनने वाले लगभग 37 करोड़ रुपये की लागत के सिटी फोरेस्ट का शिलान्यास भी सीएम ने किया। कार्यक्रम स्थल पर मुख्यमंत्री ने कन्या पूजन के साथ विभिन्न विभागों द्वारा लगाये गये बहुद्देशीय शिविर का अवलोकन किया।

वहीं दूसरी ओर धामी सरकार के एक साल पूरे होने पर विपक्ष कांग्रेस के नेताओं ने तंज कसा है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने तंज कसा है। हरीश रावत ने कहा कि धामी सरकार के पास एक साल भी बताने के लिए कुछ नहीं है। प्रदेश में ऐसा कोई इलाका नहीं है, जहां सड़कों पर गड्ढे नहीं हैं। जिस पर प्रदेश में सड़कों में इस कदर गड्ढे हो वहां समझा जा सकता है कि सरकार ही गड्ढे में है। हरीश रावत ने तंज मारते हुए कहा कि धामी सरकार में कई मंत्री अपने-अपने विभागों में खुद गड्ढा मंत्री हैं। हरीश रावत का कहना है कि अभी मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी नए-नए हैं, इसीलिए वो बहुत ज्यादा पोस्टमॉर्टम नहीं करना चाहते हैं। बल्कि वह यह चाहते हैं कि मुख्यमंत्री कुछ अच्छा करें। लेकिन हकीकत यह है कि सरकार निरंतर चलने वाली प्रक्रिया है।

प्रदेश में बीजेपी को सत्ता संभालते हुए 6 साल का लंबा समय हो गया है। लेकिन बीजेपी ने इन सालों ने प्रदेशों को सिर्फ सड़कों में गड्ढे ही दिए हैं। वहीं हल्द्वानी में नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने प्रदेश सरकार को पूरी तरह से विफल बताते हुए कहा एक साल में सरकार हर मोर्चे पर पूरी तरह से विफल साबित हुई है। कांग्रेस नेता यशपाल आर्य ने कहा कि सरकार जनहित की योजनाओं से जुड़े बजट को खर्च नहीं कर पा रही है। प्रदेश के अंदर युवा बेरोजगार लाठी खाने को मजबूर हैं, भर्ती घोटाले से लेकर अंकिता हत्याकांड में सीबीआई जांच की मांग हो, सरकार इन सब से खुद को बचाने का कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में अफसरशाही पूरी तरह से हावी है, आम जनता खुद को ठगा महसूस कर रही है।

जोशीमठ आपदा हो या मुनस्यारी में आपदा पीड़ितों का जख्म तक सरकार भर नहीं पाई है। जोशीमठ आपदा पीड़ितों के लिए सरकार ने अभी तक कोई ठोस मदद नहीं की है, तो वहीं मुनस्यारी में पिछले दो साल से आपदा पीड़ित सरकारी भवन में रहने को मजबूर हैं, लेकिन इस ओर सरकार का ध्यान नहीं जा रहा है।

एक साल पूरा होने पर सीएम धामी ने की ये 16 घोषणायें

अपनी सरकार के 1 साल पूरा होने पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने 16 नई घोषणाओं का एलान किया है। राज्य में मुख्यमंत्री प्रतियोगी परीक्षार्थी परिवहन योजना शुरू की जाएगी। इस योजना के तहत प्रतियोगी परीक्षाओं में भाग लेने वाले परीक्षार्थियों को आने-जाने के लिए परिवहन निगम की बसों में किराए में 50 प्रतिशत की छूट दी जाएगी। इसके साथ ही उन्होंने प्रदेश के लोकपर्वों को पहचान दिलाने के लिए विशेष नीति बनाने की बात कही। साथ ही सीएम धामी ने प्रदेश में श्रमिकों के बच्चों के लिए चलते-फिरते स्कूल प्रारंभ करने की बात भी कही। कक्षा 6 से ही कम्प्यूटर एवं सूचना प्रौद्योगिकी की शिक्षा को लागू किया जाएगा। राज्य के सभी 13 जनपदों में लैब ऑन व्हील्स ‘चलती-फिरती प्रयोगशाला’ स्थापित की जाएगी।

उत्तराखण्ड राज्य साइंस टेक्नोलॉजी और इन्फोर्मेशन टेक्नोलॉजी कॉरिडोर के रूप में विकसित किया जाएगा। राज्य सरकार इस क्षेत्र में शीघ्र ही ‘साइंस और टेक्नोलॉजी इनोवेशन पॉलिसी’ लाएगी। हल्द्वानी गौलापार में स्थापित अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम को उच्चीकृत कर अंतरराष्ट्रीय मानकों का खेल विश्वविद्यालय स्थापित किया जाएगा। राज्य में काश्तकारों को सहयोग देने के लिए मुख्यमंत्री उद्यानिकीकरण योजना प्रारंभ की जाएगी। राज्य में पशुपालकों को सहयोग देने के मुख्यमंत्री राज्य पशुधन मिशन प्रारम्भ किया जाएगा। राज्य में मुख्यमंत्री कौशल विकास एवं रोजगार योजना प्रारम्भ की जाएगी, जिसमें स्नातक पास छात्र एवं छात्राओं को आवश्यक रूप से दक्ष बनाया जाएगा।

राज्य के ऐसे गांव जिनकी आबादी 250 से अधिक है, उनको मुख्य सड़कों से जोड़ने के लिए मुख्यमंत्री ग्राम सड़क योजना प्रारम्भ की जाएगी। प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में उपलब्धता एवं उपयुक्तता के आधार पर 01-01 अमृत सरोवर / झील को पर्यटक स्थल एवं वाटर स्पोर्ट्स के केन्द्र के रूप में विकसित किया जाएगा। जिला सेवायोजन एवं कौशल विकास कार्यालय को स्वरोजगार केन्द्र के नोडल कार्यालय के रूप में विकसित किया जाएगा।

श्रमिकों के बच्चों को भी उचित स्कूली शिक्षा मिल सके इस हेतु राज्य सरकार मोबाईल स्कूल (चलते-फिरते स्कूल) प्रारम्भ किये जायेंगे। राज्य सरकार द्वारा दिवालीखाल से गैरसैंण तक के सड़क मार्ग के चौड़ीकरण का कार्य किया जायेगा। लोकतंत्र सेनानी की मृत्यु होने पर उनकी पेंशन विधवा पत्नी को दी जाएगी। उत्तराखण्ड के लोकपर्वों उत्तरायणी, फूलदैई, हरेला, ईगास, बूढ़ीदिवाली आदि लोकपर्वों को व्यापक पहचान दिलाए जाने एवं पूर्ण श्रद्धा एवं हर्षाल्लास के साथ मनाए जाने के लिए समेकित नीति बनाई जाएगी।

सीएम धामी ने की ये बड़ी घोषणाएं

चलती-फिरती प्रयोगशाला

उत्तराखंड के सरकारी स्कूलों के बच्चों के लिए सभी 13 जिलों में चलती-फिरती प्रयोगशाला (लैब ऑन व्हील्स) शुरू की जाएगी।

 सांइस व आईटी कॉरिडोर

राज्य में विज्ञान प्रौद्योगिकी और सूचना प्रौद्योगिकी गलियारा (कॉरिडोर) बनेगा। जल्द सांइस और टेक्नोलॉजी इनोवेशन पॉलिसी आएगी।

खेल विश्वविद्यालय

हल्द्वानी स्थित गौलापार में बने अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम का उच्चीकरण कर उसे अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार खेल विश्वविद्यालय बनाया जाएगा।

मुख्यमंत्री औद्यानिकी योजना

प्रदेश के किसानों के लिए मुख्यमंत्री औद्यानिकी योजना शुरू की जाएगी। वहीं पशुपालकों के लिए मुख्यमंत्री राज्य पशुधन मिशन शुरू होगा।

सड़कों से जुड़ेंगे गांव

जल्द मुख्यमंत्री ग्राम सड़क योजना शुरू होगी। इस योजना के तहत 250 से अधिक आबादी वाले गांवों की मुख्य सड़कों का निर्माण होगा।

कौशल विकास योजना

युवाओं के लिए मुख्यमंत्री कौशल विकास एवं रोजगार योजना शुरू होगी। इसमें स्नातक पास छात्रों को आवश्यक रूप से दक्ष बनाया जाएगा।

सरोवर योजना

सभी 70 विधानसभा क्षेत्रों में एक-एक अमृत सरोवर बनाया जाएगा। इन्हें पर्यटक स्थल व जल क्रीड़ा के केंद्र के रूप में विकसित किया जाएगा।

स्वरोजगार केंद्र

सभी जिलों में जिला सेवा योजना एवं कौशल विकास कार्यालय को स्वरोजगार केंद्र के नोडल कार्यालय के रूप में विकसित किया जाएगा।

चलते-फिरते स्कूल

श्रमिकों के बच्चों को साक्षर बनाने के लिए चलते फिरते (मोबाइल) स्कूल शुरू किए जाएंगे, जिनमें शिक्षक मौके पर जाकर बच्चों को पढ़ाएंगे।

.गैरसैंण तक चौड़ा होगा मार्ग

ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण के लिए दिवालीखाल से सड़क मार्ग का चौड़ीकरण किया जाएगा। जिससे कर्णप्रयाग गैरसैंण मार्ग सुगम हो जाएगा।

लोक पर्वों को महत्व

उत्तरायणी, फूलदेई, हरेला, ईगास, बूढ़ी दिवाली जैसे उत्तराखंड के लोकपर्वों को व्यापक पहचान दिलाए जाने के लिए समेकित नीति बनेगी।