Teachers oppose the order of the Education Director to get teachers to check their educational documents themselves

पौड़ी गढ़वाल : शिक्षकों को अपने शैक्षिक एवं प्रशिक्षण प्रमाण पत्रों का सत्यापन स्वयं करवाकर विभाग को देने के प्रारंभिक शिक्षा निदेशक के आदेश पर जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ पौड़ी ने कड़ा ऐतराज जताया है। जू.हा.शि. संघ ने इस आदेश को तुगलकी फरमान बताते हुए इसे तुरंत वापस लेने की मांग की है।

राजकीय जूनियर शिक्षक संघ पौड़ी के जिलाध्यक्ष कुंवर सिंह राणा एवं जिला मंत्री मुकेश काला ने बताया कि बीते 5 अक्टूबर को नैनीताल हाईकोर्ट ने शिक्षा विभाग को निर्देशित किया था कि प्राथमिक एवं जूनियर शिक्षकों की उन प्रमाण पत्रों का सत्यापन किया जाए, जिनकी आधार पर उनकी नियुक्ति हुई थी। जिसके अनुपालन में शिक्षा विभाग ने शिक्षकों से शैक्षिक एवं प्रशिक्षण प्रमाण पत्रों की स्वप्रमाणित प्रतियां जमा करने के आदेश दिए थे। जिसके बाद शिक्षकों ने अपने प्रमाण पत्रों की स्वप्रमाणित तीन-तीन प्रतियां संबंधित खंड एवं जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में जमा करा दी थी। परंतु इसी बीच 27 अक्टूबर को प्रारंभिक शिक्षा निदेशक ने एक अजीब फरमान जारी कर दिया है जिसके अनुसार शिक्षकों को अपने शैक्षिक एवं प्रशिक्षण प्रशिक्षण प्रमाण पत्रों का सत्यापन स्वयं संबंधित बोर्ड, विश्वविद्यालय से करवाकर विभाग को देना है। उन्होंने कहा कि इस आदेश से शिक्षकों में आक्रोश है।

जिलाध्यक्ष कुंवर सिंह राणा एवं जिला मंत्री मुकेश काला ने कहा कि संगठन इस तरह के आदेश का घोर विरोध करता है। उन्होंने कहा कि कोई भी शिक्षक अपने प्रमाण पत्रों का सत्यापन स्वयं नहीं कराएगा, जब शिक्षक को अपने दस्तावेजों का सत्यापन स्वयं ही करवाना है तो फिर जांच का कोई औचित्य नहीं रह जाता है। इस संबंध में जिला कार्यकारिणी पौड़ी ने प्रांतीय कार्यकारिणी को पत्र लिखकर निवेदन किया है कि इस पर तत्काल उचित निर्णय लिया जाए जिससे शिक्षकों का उत्पीड़न ना हो।