jageshwar dham

उत्तराखंड के अल्मोड़ा जनपद स्थित प्रसिद्द जागेश्वर धाम में अभद्रता करने के आरोपी बीजेपी सांसद के खिलाफ मुकदमा दर्ज हो गया है। बता दें कि उत्तर प्रदेश के बरेली जिले के आवंला से सांसद  धर्मेन्द्र कश्यप का शनिवार को कथित तौर पर गाली-गलौज करते हुए एक वीडियो वायरल हुआ है। वीडियो वायरल होने के बाद कुमाऊँ मण्डल के अल्मोड़ा, चम्पावत, नैनीताल और आसपास के जनपदों में कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, उक्रांद और पुजारियों के अलावा जागेश्वर धाम के प्रति आस्था रखने वाले लोगों ने मोर्चा खोल दिया है। सांसद के अमर्यादित आचरण के विरोध में रविवार को कुमाऊं में कई स्थानों पर सांसद और भाजपा सरकार का पुतला जलाया गया। स्थानीय लोगों और कांग्रेस, आम आदमी पार्टी तथा उत्तराखंड क्रांति दल के नेताओं ने उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।

जागेश्वर मंदिर समिति के प्रबंधक भगवान भट्ट की तहरीर पर राजस्व पुलिस ने धर्मेंद्र कश्यप, उनके साथी मोहन राजपूत और सुशील अग्रवाल के खिलाफ मजिस्ट्रेट के आदेश का उल्लंघन करने पर धारा 188 और गालीगलौज, अभद्रता करने पर धारा 504 के तहत प्राथमिक दर्ज कर ली है।

धाम के प्रबंधक भगवान भट्ट ने राजस्व उप निरीक्षक कोटुली को दी हुई तहरीर में लिखा है कि शनिवार 31 जुलाई को शाम 3:30 बजे सांसद धर्मेंद्र कश्यप अपने दो साथियों मोहन राजपूत, सुशील अग्रवाल और यूपी पुलिस के चार सुरक्षा कर्मियों के साथ मंदिर में पूजन के लिए आए। पूजा की व्यवस्था पं. गिरीश भट्ट ने करवाई। मंदिर प्रबंध समिति की एसओपी के अनुसार मंदिर में सुबह 6:30 बजे से शाम छह बजे तक दर्शन और सुबह सात से शाम साढ़े चार बजे तक पूजा के लिए समय नियत है। नियमानुसार शाम छह बजे मंदिर का मुख्य प्रवेश द्वार श्रद्धालुओं के लिए बंद कर दिया जाता है।

इसकी जानकारी बार-बार देने के बाद भी 6:30 बजे तक सांसद कश्यप और उनके साथी मंदिर परिसर में जमे रहे। जब सांसद और उनके साथ आए मोहन राजपूत से मंदिर परिसर से बाहर जाने का अनुरोध किया तो मोहन ने बहस शुरू कर दी और साथ खड़े सांसद कश्यप गाली देने लगे। सांसद ने पुजारियों और स्थानीय जनता के लिए भी अपशब्दों का प्रयोग किया। सांसद और उनके साथियों के अभद्र व्यवहार से हर श्रद्धालु आहत है। कोटुली के राजस्व उप निरीक्षक गोपाल सिंह बिष्ट ने बताया कि जांच कर तीनों आरोपियों के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। उधर,सांसद का आरोप था कि गर्भगृह में प्रवेश के एवज में प्रबंधक सुविधा शुल्क की मांग कर रहे थे। इसी को लेकर बहस हुई।

कश्यप के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर रविवार को सायं तीन बजे से पांच बजे तक जागेश्वर मंदिर परिसर में धरना दिया। पुजारियों ने इस दौरान धार्मिक अनुष्ठान भी नहीं कराए। उन्होंने कहा कि भविष्य में ऐसी पुनरावृत्ति नहीं हो इसके लिए भी कड़े कदम उठाए जाएं। उन्होंने कहा कि समाज का कोई भी व्यक्ति जागेश्वर धाम में पूजा करने पहुंचे तो वह सामान्य और आम जन की तरह पूजा अनुष्ठान करे।

वहीँ क्षेत्रीय विधायक गोविंद सिंह कुंजवाल भी जागेश्वर धाम के स्थानीय लोग के साथ कश्यप के विरोध में रविवार को मंदिर परिसर में उपवास पर बैठ गए। कुंजवाल ने कहा कि सांसद ने धार्मिक स्थल पर अभद्र भाषा का प्रयोग कर उसकी मर्यादा और गरिमा के विपरीत आचरण किया है। इसके लिए उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जानी चाहिए।

मंदिर समिति के पदाधिकारियों का कहना है कि वीआईपी और वीपीआईपी व्यवस्था समाप्त की जानी चाहिए। उन्होंने मंदिर परिसर में सुरक्षा व्यवस्था पुख्ता करने की मांग की, ताकि भविष्य में ऐसी पुनरावृत्ति नहीं हो। धरने में पुजारी प्रतिनिधि पंडित भगवान भट्ट, पंडित कमल भट्ट, पंडित कैलाश भट्ट, पंडित गोपाल भट्ट, पंडित आनंद भट्ट, पंडित दीपक भट्ट, पंडित हरीश भट्ट, पंडित पूरन भट्ट आदि रहे।

उत्तराखंड क्रांति दल ने सांसद धर्मेंद्र कश्यप के खिलाफ बुद्ध पार्क में धरना-प्रदर्शन कर पुतला फूंका। उन्होंने कहा कि भाजपा सांसद तत्काल जागेश्वर धाम के पुजारियों से माफी मांगें अन्यथा उन्हें उत्तराखंड में घुसने नहीं दिया जाएगा। उक्रांद के पूर्व केंद्रीय महामंत्री सुशील उनियाल कहां कि भाजपा सांसद ने जागेश्वर में पुजारियों का अपमान किया है। उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई होनी चाहिए। जिलाध्यक्ष दिनेश भट्ट ने कहा कि भाजपा सांसद ने पुजारियों के साथ अभद्रता कर वास्तविक चरित्र उजागर किया है।